देहरादून: उत्तराखंड में चारधाम यात्रा को लेकर सरकार ने कसरत शुरू कर दी है। यात्रा के लिए पंजीकरण अनिवार्य किया गया है। पहले पंजीकरण केवल अन्य राज्यों और विदेशी तीर्थयात्रियों के लिए था लेकिन इस बार उत्तराखंड के लोगों को भी चारधाम दर्शन के लिए पंजीकरण कराना होगा। दर्शनार्थियों की सही संख्या जानने के लिए यह व्यवस्था की गई है।
मंगलवार से ऑनलाइन व ऑन काल माध्यमों से पंजीकरण प्रारंभ कर दिए गए हैं। पिछले साल स्थानीय लोगों को पंजीकरण से छूट दी थी। लेकिन इस बार चारधाम दर्शन के लिए सरकार ने सभी तीर्थयात्रियों के लिए ऑनलाइन पंजीकरण अनिवार्य किया है। पर्यटन विभाग के एक अफसर का कहना है कि स्थानीय लोगों के लिए भी पंजीकरण कराना होगा। यदि स्थानीय लोगों को पंजीकरण से छूट दी गई तो यात्रा के इच्छुक लोगों का सही आंकड़ा सरकार के पास नहीं आ पाएगा।
क्यूआर कोड से ही मिलेगा दर्शन के लिए टोकन
चारधाम यात्रा के लिए पंजीकरण कराने के बाद तीर्थयात्रियों के रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर पर क्यूआर कोड आएगा। इस क्यूआर कोड के आधार पर धामों में दर्शन करने के लिए टोकन मिलेगा। इसी टोकन में दर्शन का समय होगा। पर्यटन विभाग की इस नई व्यवस्था से श्रद्धालुओं को लंबी लाइनों में नहीं खड़ा होना पड़ेगा। बिना क्यूआर कोड के दर्शन की अनुमति नहीं होगी।