देहरादून: बॉलीवुड के फ़िल्म निर्माता निर्देशक उत्तराखंड में अपनी फिल्मों की शूटिंग के लिए आ रहे है। इसी कड़ी में बुधवार को सूचना निदेशालय में उत्तराखण्ड फ़िल्म विकास परिषद के संयुक्त मुख्य कार्यकारी अधिकारी डॉ. नितिन उपाध्याय से सुप्रसिद्व फ़िल्म निर्माता विपुल अमृतलाल शाह और उनके सह निर्माता आशीन शाह ने मुलाक़ात की।
उल्लेखनीय है कि विपुल अमृतलाल शाह फिल्म निर्माता और निर्देशक हैं, जिनकी मुख्य फ़िल्मों में आँखे, सिंह इज द किंग, नमस्ते लन्दन, नमस्ते इंग्लैंड, द केरल स्टोरी आदि शुमार है। अभी हाल ही में विपुल शाह की zee 5 पर बस्तर फ़िल्म रिलीज़ हुई है।
शाह ने कहा कि उत्तराखंड सरकार द्वारा नई फिल्म नीति 2024 लागू की गई है, जोकि फ़िल्म फ्रेंडली है। नई फिल्म नीति से बॉलीवुड में उत्साह का माहौल है। शाह ने बताया कि वह भी अपनी नई फिल्म की शूटिंग उत्तराखण्ड में करने के इच्छुक है।उनकी टीम अगले 5 दिन तक उत्तराखंड रहकर शूटिंग लोकेशन की रेकी करेंगे।
शाह ने नई फिल्म नीति के लिए मुख्यमंत्री पुष्क़र सिंह धामी का भी आभार व्यक्त किया है। शाह ने बताया कि उनकी नई फिल्म में मुख्य कलाकारों के रूप में सुश्री शैफ़ाली शाह और जयदीप अहलावत से बात की जा रही है।
यह फ़िल्म एक कॉमेडी सस्पेंस फ़िल्म है और इसका संपूर्ण फिल्मांकन उत्तराखण्ड के देहरादून और मसूरी में किया जाएगा। फिल्म को लेकर विधिवत घोषणा कुछ दिनों में की जाएगी।
उत्तराखण्ड फ़िल्म विकास परिषद के संयुक्त मुख्य कार्यकारी अधिकारी डॉ नितिन उपाध्याय द्वारा नई फिल्म नीति 2024 से संबंधित सभी महत्वपूर्ण जानकारी प्रदान की गई। डॉ. उपाध्याय ने बताया कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के निर्देश पर फ़िल्म फ्रेंडली नई फिल्म नीति बनाई गई है। इस फ़िल्म नीति से देश दुनिया के फ़िल्म निर्माता और निर्देशक उत्तराखंड की ओर आकर्षित हो रहे हैं।
डॉ. उपाध्याय ने बताया कि राज्य सरकार फ़िल्म निर्माताओं के लिए उत्तराखंड को एक शूटिंग डेस्टिनेशन बनाने के लिए पूर्ण रूप से प्रतिबद्ध है। अभी हाल ही में अनुपम खेर के बैनर “अनुपम खेर स्टूडियो” की फ़िल्म “तन्वी द ग्रेट” का शूट भी लैंसडौन में कैम्पलीट हुआ है। जिसकी शूटिंग यहाँ 36 दिनों तक कि गई है। एक और प्रसिद्ध निर्माता निर्देशक राज शांडिल्य निर्देशित फ़िल्म “विकी विद्या का वो वाला वीडियो” की शूटिंग भी मार्च के महीने में कम्पलीट हुई है जिसमें मुख्य भूमिकाओं में राजकुमार राव और तृप्ति डिमरी हैं, यह एक कॉमेडी फ़िल्म है। इसके पहले काजोल और कृति सेनन अभिनीत “दो पत्ती” का भी शूटिंग दिसम्बर माह में समाप्त हुआ था, जिसका टीज़र भी नेटफ़्लिक्स पर आ चुका है।
डॉ उपाध्याय ने बताया कि जनवरी 2024 से अभी तक उत्तराखण्ड फ़िल्म विकास परिषद के ऑनलाइन सिंगल विंडो सिस्टम के द्वारा मात्र 4 महीनों में 100 से भी अधिक शूटिंग अनुमतियां प्रदान की गई है, जो कि काफ़ी उत्साहजनक हैं। फ़िल्म अनुमतियों को लेकर सभी ज़िलाधिकारियों और पुलिस अधीक्षकों को पत्र भी लिखा जा रहा है। संरक्षित वन क्षेत्र को छोड़कर उत्तराखण्ड सरकार के अधीन आने वाले विभाग फ़िल्म शूटिंग के लिए कोई शुल्क नहीं लेंगे ऐसा फ़िल्म पालिसी में प्रावधान है।फ़िल्म पालिसी में उत्तराखंड के अनछुए शूटिंग डेस्टिनेशन को बढ़ावा देने का भी प्रावधान किया गया है।
उत्तराखण्ड फ़िल्म नीति 2024 में प्रादेशिक भाषा की फ़िल्मों के लिए फ़िल्म प्रोडक्शन पर प्रदेश में हुए व्यय का 50% तक सब्सिडी या अधिकतम 2 करोड़ तक, और हिन्दी और भारतीय संविधान की 8वीं अनुसूची में आने वाली भाषाओं के लिये फ़िल्म प्रोडक्शन पर प्रदेश में हुए व्यय का 30% या अधिकतम 3 करोड़ रुपये तक के अनुदान की व्यवस्था की गई है। इसके साथ ही सब्सिडी के लिए लघु फ़िल्म डाक्यूमेंट्री और वेब सीरीज को भी इस नयी नीति में शामिल किया गया है।
इस अवसर पर डॉ. उपाध्याय द्वारा फ़िल्म निर्माता व निर्देशक विपुल शाह को स्मृति चिन्ह के रूप में ब्रह्माकमल की अनुकृति भेंट की गई।