प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उत्तराखंड समेत पांच राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनावों से ऐन पहले तीनों कृषि कानूनों को वापस लेने का ऐलान किया है। उत्तर प्रदेश और पंजाब के चुनावों पर तो सीधे किसान वोटर्स असर डालते हैं लेकिन उत्तराखंड की बात करें तो यहां हरिद्वार और ऊधमसिंह नगर में किसान मतदाता बड़ा उलटफेर करने की स्थिति में हैं।
हरिद्वार की बात करें तो हरिद्वार की 11 विधासभा सीटों में से 9 सीटों पर किसान मतदाता बड़ा उलटफेर करने की स्थिति में हैं। ये सीटें हैं मंगलौर, झबरेड़ा, भगवानपुर, कलियर, ज्वालापुर, खानपुर, लक्सर, रानीपुर और हरिद्वार ग्रामीण। इन सभी नौै सीटों पर किसान वोट बैंक ठीक संख्या में है।
ऊधम सिंह नगर में कुल नौ विधानसभा सीटें हैं और ये सभी सीटें किसान बहुल हैं। यहां भी किसान मतदाता सभी नौ सीटों पर प्रबल निर्णायक भूमिका में हैं। ये सीटें हैं जसपुर, काशीपुर, गदरपुर, बाजपुर, रुद्रपुर, किच्छा, सितारगंज, खटीमा और नानकमत्ता।
इसके अलावा देहरादून जिले की दो-तीन सीटों पर भी किसानों का अच्छा खासा वोट बैंक है।
कुल मिलाकर उत्तराखंड में भी किसान मतदाता मैदानी क्षेत्रों में निर्णायक भूमिका में हैं। यानि कृषि कानूनों के वापस लेने का फैसला यहां भी बीजेपी के लिए फायदे का सौदा साबित होगा। बाकी बात भविष्य के गर्भ में।